सीएम योगी ने बाढ़ प्रभावित राज्यों के लिए राहत सामग्री भेजी, सहायता राशि का किया ऐलान
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को सहारनपुर पहुंचकर तीन राज्यों—पंजाब, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड—के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के लिए राहत सामग्री का वितरण किया। उन्होंने इन राज्यों को भेजने के लिए 48 ट्रकों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। इन ट्रकों में करीब 18 हजार राहत किट भरी हुई हैं, जिनका वजन प्रत्येक लगभग 40 किलोग्राम है। इन किटों में घरेलू जरूरत की 26 वस्तुएं शामिल हैं, जैसे चावल, आटा, दाल, चीनी, तेल, साबुन, तिरपाल, बाल्टी, मोमबत्ती, बिस्कुट, मच्छरदानी, दवाइयां आदि।
योगी आदित्यनाथ ने इस अवसर पर कहा कि प्रदेश से राहत सामग्री भेजकर हम इस प्राकृतिक आपदा में पीड़ित लोगों की मदद कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि इन ट्रकों को प्रदेश के राज्य मंत्रियों और विधायकों की देखरेख में भेजा गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड में बादल फटने से काफी नुकसान हुआ है, इसलिए उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश के राहत कोष में प्रत्येक के लिए 5-5 करोड़ रुपये की सहायता राशि भी दी जा रही है।
सीएम योगी ने कहा कि इस बार हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और पंजाब में सबसे अधिक आपदाएं आई हैं, जिनसे हजारों परिवार प्रभावित हुए हैं। उन्होंने जनता को सलाह दी कि आपदा के समय सतर्क और सावधान रहें। जलजनित रोग जैसे डायरिया, वायरल, डेंगू आदि से बचाव के लिए साफ-सफाई और फॉगिंग जरूरी है। साथ ही, जगह-जगह जमा पानी से सांप, बिच्छू आदि निकल आते हैं, इसलिए यदि कोई जहरीला जीव काट ले तो तुरंत अस्पताल जाएं और इलाज कराएं। यदि कोई व्यक्ति या पशु काट ले तो तुरंत टीका लगवाना जरूरी है।
सीएम योगी ने कहा कि उत्तर प्रदेश की ओर से राहत सामग्री के साथ-साथ 5 करोड़ रुपये की सहायता राशि उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश को दी गई है। राहत सामग्री में चना, चीनी, बिस्कुट, मच्छरदानी, साबुन, बाल्टी, तिरपाल, आटा, चावल, दाल, हल्दी, मिर्च, रिफाइंड तेल और अन्य आवश्यक वस्तुएं शामिल हैं।
उन्होंने यह भी कहा कि बाढ़ में फंसे लोगों को सुरक्षित शिविरों में पहुंचाया जा रहा है। वहां उन्हें नाश्ता, दोपहर का भोजन, रात का खाना और दूध जैसे आवश्यक पदार्थ मुहैया कराए जा रहे हैं। पशुपालकों के लिए चारा भी उपलब्ध कराया जा रहा है।
सीएम योगी ने अंत में जनता से अपील की कि आपदा के समय सावधानी बरतें, सतर्क रहें और सरकारी निर्देशों का पालन करें। इस मदद के माध्यम से हम प्राकृतिक आपदा के दौरान पीड़ित परिवारों को राहत पहुंचाने का प्रयास कर रहे हैं।



